मूत्राशय के कैंसर की वजह से फिल्म निर्देशक महेश मांजरेकर को करनी पड़ी सर्जरी, जानिए इसके लक्षण और ट्रीटमेंट
मुंबई। फिल्म निर्देशक और अभिनेता महेश मांजरेकर को यूरिनरी ब्लैडर कैंसर की समस्या होने के बाद हाल ही में उनकी सर्जरी हुई है। फिलहाल उनकी सेहत पहले से बेहतर है। बताया जा रहा है कि महेश मांजरेकर अब बिल्कुल ठीक हैं और हॉस्पिटल से घर वापस आ चुके हैं। यूरिनरी ब्लैडर कैंसर को मूत्राशय का कैंसर भी कहा जाता है। आइए जानते है यूरिनरी कैंसर क्या है और किस तरीके से इसका इलाज हो सकता है।
क्या है मूत्राशय का कैंसर?
ब्लैडर कैंसर मूत्राशय के अंदर की कोशिकाओं में शुरु होता है। यह किसी को भी किसी उम्र हो सकता है। ये कैंसर महिलाओं की तुलना पुरुषों को ज्यादा होता है। ये कैंसर ज्यादातर ६० साल से ऊपर उम्र की पुरुषों को होता है। ब्लैडर हमारे यूरिनरी सिस्टम का हिस्सा है और इसके जरिए ही यूरिन बाहर आता है।
मूत्राशय का कैंसर अक्सर उन कोशिकाओं (यूरोथेलियल कोशिकाओं) में शुरू होता है जो आपके मूत्राशय के अंदर लाइनिंग बनाती हैं। यूरोटेलियल कोशिकाएं आपके गुर्दे और मूत्राशय से गुर्दे को जोड़ने वाली नलियों (मूत्रवाहिनी) में भी पाई जाती हैं। यूरोटेलियल कैंसर गुर्दे और मूत्रवाहिनी में भी हो सकता है, लेकिन यह मूत्राशय में बहुत अधिक आम है।
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मूत्राशय कैंसर की वजह -
ब्लैडर कैंसर की शुरुआत तब होती है जब उसकी ब्लैडर की कोशिकाओं के डीएनए में असामान्य परिर्वतन होने लगता है। इसके अलावा धूम्रपान, रसायनों के संपर्क में रहने वाले, ब्लैडर में सूजन, या परिवार में किसी को कैंसर होने की वजह से भी ये हो सकता है। महिलाओं में प्रेगनेंसी के दौरान आने वाली परेशानी के कारण भी ब्लैडर कैंसर का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा बार-बार गर्भपात की वजह से भी ब्लैडर कैंसर का खतरा रहता है। जिनको मूत्राशय में पथरी होती है उनको भी ब्लैडर कैंसर का खतरा होता है। जो पुरुष प्रोस्टेट की समस्या से परेशान रहते हैं उनको ब्लैडर कैंसर हो सकता है। कैंसर जैसी बीमारी का इलाज बेहद दर्दनाक इसलिए समय रहते ही देर न करें और इलाज करवा लें।
ब्लैडर में कैंसर के लक्षण -
१. यूरिन में खून आना इसका मुख्य लक्षण है। ऐसा हो सकता है कभी बिनर दर्द के भी लाल रंग का पेशाब आता है। शौच या पेशाब में खून का आना। पेशाब करने के दौरान दर्द का होना।
२. कभी-कभी पेट के निचले हिस्से में दर्द का होना।
३. पीरियड्स के वक्त अधिक खून का आना।
४. कभी-कभी यूरिन में जलन और यूरिन का रुकना।
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क्या है इसके इलाज के विकल्प -
मूत्राशय के कैंसर या यूरिनरी ब्लैडर कैंसर के रोगियों के लिए चार प्रकार के उपचार हैं-
१. कीमोथेरपी
२. सतही कैंसर के लिए इंट्रावेसिकल कीमोथेरेपी या इम्यूनोथेरेपी
३. रेडिएशन थेरेपी
४. कभी-कभी, इन ट्रीटमेंट के कॉम्बिनेशन करके भी इलाज किया जाता है।
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